मुख्यमंत्री उद्यमी योजना: बिहार में स्वरोज़गार को बढ़ावा देने की पहल
राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही मुख्यमंत्री उद्यमी योजना (Mukhyamantri Udyami Yojana) का उद्देश्य बिहार में युवाओं को स्वरोज़गार के लिए प्रोत्साहित करना है। इस योजना के अंतर्गत चयनित लाभार्थियों को ₹10 लाख तक की सहायता राशि प्रदान की जाती है ताकि वे अपना खुद का व्यवसाय शुरू कर सकें।
योजना का उद्देश्य
बिहार सरकार द्वारा इस योजना की शुरुआत राज्य में स्वरोज़गार की संभावनाओं को बढ़ाने और युवाओं के पलायन को रोकने के इरादे से की गई थी। योजना विशेष रूप से उन युवाओं को टारगेट करती है जो पारंपरिक रोज़गार के विकल्पों से अलग अपना खुद का व्यवसाय शुरू करना चाहते हैं।
योजना के तहत:
- कुल ₹10 लाख तक की राशि दी जाती है।
- जिसमें ₹5 लाख अनुदान (grant) के रूप में और ₹5 लाख ब्याज-मुक्त ऋण के रूप में दिया जाता है।
- योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए बिहार का निवासी होना और न्यूनतम 12वीं पास होना अनिवार्य है।
पात्रता
1. आवेदक की उम्र 18 से 50 वर्ष के बीच होनी चाहिए।
2. बिहार राज्य का निवासी होना चाहिए।
3. न्यूनतम 12वीं पास या समकक्ष शैक्षणिक योग्यता आवश्यक है।
4. पहले से कोई व्यवसायिक ऋण न चल रहा हो।
5. योजना का लाभ एक परिवार में केवल एक व्यक्ति को मिलेगा।
आवेदन प्रक्रिया
ऑनलाइन आवेदन के लिए सरकार ने एक पोर्टल जारी किया है:
यहाँ पर आवेदक को:
- दस्तावेज़ अपलोड करने होंगे
- आवेदन सबमिट कर उसका प्रिंटआउट निकालना होगा
आवेदन के बाद चयन प्रक्रिया के तहत इंटरव्यू और दस्तावेज़ सत्यापन होता है।
हालांकि योजना को सकारात्मक प्रतिक्रिया मिली है, लेकिन जमीनी स्तर पर कई शिकायतें भी सामने आई हैं, जैसे:
- पोर्टल का तकनीकी रूप से डाउन रहना
- दस्तावेज़ सत्यापन में देरी
विशेषज्ञ मानते हैं कि अगर प्रक्रिया को और पारदर्शी बनाया जाए तो यह योजना राज्य में स्वरोज़गार का एक मजबूत आधार बन सकती है।
मुख्यमंत्री उद्यमी योजना बिहार सरकार की एक महत्वाकांक्षी पहल है, जिसका उद्देश्य राज्य के युवाओं को आत्मनिर्भर बनाना है। योजना का लाभ लेने के लिए ज़रूरी है कि युवा इसके दिशा-निर्देशों को सही तरीके से समझें और समय पर आवेदन करें।